ग्राम पंचायत रेवाड़ी में शुक्रवार सुबह से कुछ घंटों तक एक ही स्थान पर विचरण करते दो तेंदुए अल्मोड़ा से टीम के पहुंचने से पहले ही गायब हो गए। टीम खेतों व झाड़ियों में खोजने के बाद लौट गई। बताया गया है कि शनिवार की सुबह फिर से तेंदुओं को खोजने का अभियान चलाया जाएगा।
ग्राम पंचायत रेवाड़ी में झाड़ियों से लगे खेतों में लोगों ने सुबह दो असहाय से दिख रहे तेंदुओं को देखा। जिनमें से एक तेंदुआ तो कुछ समय बाद नजर नही आया जबकि दूसरा तेंदुआ तीन, चार घंटे तक उसी स्थान पर लड़खड़ाता सा दिख रहा था। कुछ लोगों की ओर से बनाई गई वीडियो को देखने के बाद वन विभाग के अधिकारियों का अनुमान था कि या तो संबंधित तेंदुए ने कोई जहरीला पदार्थ खा लिया होगा अथवा आपसी संघर्ष में घायल हो गया होगा। जिससे वे कुछ देर तक भागने में नाकाम रहे।
तेंदुए को देखने के बाद ग्रामीणों की सूचना पर वन विभाग के कुछ कर्मी नौ बजे मौके पर पहुंच गए थे। संबंधित कर्मियों का कहना था कि उन्होंने तेंदुओं को नहीं देखा। शाम सवा चार बजे अल्मोड़ा से ट्रेंक्यूलाइजर टीम भी पहुंची । टीम ने वन विभाग के अधिकारियों के साथ चारों तरफ खोजबीन की लेकिन तेंदुआ नजर नही आया।
टीम में जौरासी क्षेत्र के रेंजर विक्रम कैड़ा, द्वाराहाट के प्रभारी रेंजर मनमोहन तिवारी, ट्रेंक्यूलाइजर टीम प्रभारी भुवन लाल टम्टा, वन दरोगा महेश जोशी, चंद्र शेखर त्रिपाठी, विद्या और गोविंद सिंह और राजस्व कर्मी आदि थे। इधर, रेंजर विक्रम कैड़ा ने बताया कि शुक्रवार को खोजबीन के बावजूद तेंदुए का पता नही चल सका है शनिवार को फिर से कोशिश की जाएगी।
स्कूली बच्चों के लिए मुसीबत बनेंगे तेंदुए
तेंदुओं के न पकड़े जाने से रेवाड़ी के साथ ही भनोटिया, टटलगांव, बिजरानी, सुनगड़ी व रामपुर सहित आस-पास के गावों के लोगों में भय है। ग्रामीणों का कहना है कि दिनदहाड़े घूमने वाले तेंदुए उनके लिए मुसीबत बन सकते हैं। कहना है कि वे स्कूल जाने वाले बच्चों की सुरक्षा को लेकर खासे चिंतित हैं। संवाद